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डिप्रेशन को दूर कर सकते है ये योगासन आइये जानें

भुजंगासन का डिप्रेशन में लाभ
दिमाग को शांत कर नए सकारात्मक विचारों को अंदर लाने में मदद करने वाला यह आसन डिप्रेशन मरीजों के लिए बेहद लाभदायक है। ख़ास बात यह है कि इस आसन को नियमित करने से लिवर और किडनी ठीक से काम करते हैं। आसन को करने का तरीका है कि आप पेट के बल लेट जाएं और गर्दन से कमर तक के हिस्से को उठाए रखें। ध्यान रहे इस क्रिया में आपके हाथ ज़मीन पर ही रहेंगे, बस कमर से चेहरे तक का हिस्सा उठा हुआ रहेगा। ऐसा लगभग 5-15 मिनट तक अपनी सुविधानुसार करें।
उत्तनासनकिस प्रकार करे
इस आसन के जरिए हम अपने मन-मस्तिष्क को एकाग्रता की ओर ले जाते हैं। एक्सपर्ट्स मानते हैं कि इस आसन को 2-2 मिनट के अंतराल पर करने से सकारात्मक ऊर्जा का प्रवेश होता है। आसन में आपको सीधे खड़े रहकर अपने पैरों की ओर झुकना है और दोनों हथेलियां पंजों के करीब रखनी हैं। याद रहे पीठ को उतना ही लचीला रखें जितने में आप हाथ को पंजों के करीब ले जा सकें।
अक्सर किसी को खोने या जीवन में छोटी-बड़ी घटनाएं घटने से हम डिप्रेशन के शिकार हो जाते हैं। कई बार हम लंबे समय तक इसे नजरंदाज करते रहते हैं। इस तरह ना तो हम प्रफेशनली अपना बेस्ट दे पाते हैं और न ही निजी जिंदगी में खुश रह पाते हैं। ऐसा माना गया है कि डिप्रेशन का इलाज योग में भी है। आइए जानें कि किस तरह दिनचर्या से कुछ वक्त निकालकर योग के जरिए हम डिप्रेशन को खत्म करने की दिशा में आगे बढ़ सकते हैं
जनुसिर्सान किसके लिए फायदेमंद
इस आसन को करने से मस्तिष्क में सकारात्मकता का सृजन होता है। निरंतर अभ्यास के बाद आप खुद को तरो-ताज़ा और ऊर्जावान महसूस करने लगते हैं। आसन को बैठकर हाथ आगे की ओर ले जाएं और पैरों को सीधा रखें।
सलंबसिर्सासन कैसे करें
हालांकि यह आसन थोड़े से कठिन आसनों में आता है पर निरंतर अभ्यास से इसे करना काफी लाभदायक सिद्ध हो सकता है। इसमें आपको घुटनों पर पहले बैठ जाएं, फिर पूरे शरीर का बल हाथों पर लेते हुए पैरों को ऊपर उठाते हुए खुद को उल्टा खड़ा कर लें। यह क्रिया 10-15 सुविधानुसार नियमत करें।
सेतुबंधसर्वांगासन इससे लाभ
एक्सपर्ट्स मानते हैं कि इस आसन से आप शारीरिक-मानसिक संतुलन को मजबूत करते हैं। सीधे पीठ के बल लेटकर पैरों को ऐसे रखें कि जैसे आप बैठे हुए हैं। यह क्रिया कुछ वक्त तक निरंतर दोहराएं। इससे फेंफड़ों और स्वसन क्रिया पर भी सकारात्मक असर दिखता है।
स्टूडेंट्स के लिए फायदेमंद है यह योगा
दंडासन इस प्रकार
इस योग से रीढ़ की हड्डी सीधी रहती है. यह सिटिंग पॉश्चर के लिए बेहतरीन योग है. इसे रोजाना करने से शरीर के निचले हिस्से में लचीलापन भी आता है.
एक पदासन करे
पुराने समय में प्रार्थना के समस एक पदासन करते थे. इस आसन से स्वास्थ्य लाभ तो होता ही है साथ ही इससे हमारा मानसिक तनाव भी तनाव दूर होता है. यह आपके शरीर के आलस को दूर कर आपको फुर्तीला बनाता है. रोजाना इसे करने से आप अपने गुस्से पर कंट्रोल कर सकते हैं.
सुखासन क्या है जानें
इसे योग का सबसे आसान तरीका माना जाता हैं, जिसमें दोनों पैरों को क्रॉस करने के साथ पीठ को सीधा रखकर बैठना होता है. इस आसन में मेडिटेशन भी किया जाता है. लेकिन ध्यान रहे इस आसन में हाथ की मुद्रा भी बहुत जरूरी होती है. ये आसन आपकी ब्रेन पावर को बढ़ाने में कारगर है.
प्राणायाम करे
रोजाना प्राणायाम करने से दिमाग स्ट्रेस फ्री रहता है. आप अपनी पढ़ाई पर अच्छी तरह फोकस कर सकते हैं. सांस को धीमी गति से गहरी खींचकर रोकना व बाहर निकालना प्राणायाम के क्रम में आता है. प्राणायाम से हमारा मानसिक विकास भी होता है.
योग हर उम्र के व्यक्ति के लिए फायेदमंद होता है. हेल्दी और पीसफुल लाइफ जीने के लिए स्टूडेंट्स को नियमित रूप से योग करना चाहिए. योग पढ़ाई के प्रेशर का कम करने के साथ एकाग्रता को बढ़ाता है !
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